Showing posts with label -सुरेन्द्र चतुर्वेदी. Show all posts
Showing posts with label -सुरेन्द्र चतुर्वेदी. Show all posts

Friday, January 05, 2024

मत चिरागों को

मत चिरागों को हवा दो बालियाँ जल जायेंगी
ये हवन वो है कि जिसमें उँगलियाँ जल जायेंगी

              -सुरेन्द्र चतुर्वेदी

Monday, December 25, 2023

सब सही उत्तर दिए थे

सब सही उत्तर दिए थे वक़्त के बेताल को, 
एक ही उत्तर गलत निकला कि सर गायब मिला। 

           -सुरेन्द्र चतुर्वेदी